अधिकारी विकास भवन में बैठ कर करते रहे प्लास्टिक की रोकथाम के लिए बैठक और सिडकुल में चलता रहा प्लास्टिक उत्पादन का अवैध रूप से प्लांट, जी हां ये हालात जिला मुख्यालय रुद्रपुर के हैं, जहां कलेक्ट्रेट परिसर में जिले के तमाम अधिकारी, मुख्य नगर आयुक्त की अध्यक्षता में चिंतन और मनन करते रहे प्लास्टिक के उत्पादों की रोकथाम के लिए, तो दूसरी तरफ सिडकुल में अवैध रूप से प्लास्टिक का उत्पादन चलता रहा, जिसमें पुरी तरह से प्रतिबंधित प्लास्टिक को बनाया जा रहा था, लेकिन बेखौफ फैक्ट्री संचालक को अधिकारियों की कार्यवाही का कोई खौफ नहीं, क्योकि यहां अधिकारी सिर्फ बैठकों में उच्च न्यायालय के निर्देशों का अनुपालन करते रहे और सिडकुल में प्लास्टिक की फैक्ट्री अपना प्रोडक्शन करती रही, आईये हम आपको बताते हैं, कहां है ये प्लास्टिक की फैक्ट्री और कैसे अवैध रूप से बन रहा है फ्लास्टिक।
गौरतलब है कि बीते मंगलवार को उच्च न्यायालय के निर्देशों के अनुसार नगर निगम क्षेत्र अंतर्गत उत्सर्जित होने वाले नागरिक ठोस अपशिष्ट एवं प्रतिबंधित सिंगल यूज प्लास्टिक के प्रबंधन हेतु आज नगर आयुक्त की अध्यक्षता में विकास भवन सभागार में मुख्य चिकित्सा अधिकारी ऊधम सिंह नगर, क्षेत्रीय प्रबंधक प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड काशीपुर ,प्रबंधक सिडकुल , व्यापार मंडल अध्यक्ष एवं नगर निगम क्षेत्र के छोटे बड़े होटलों रेस्टोरेंट्स अस्पताल इत्यादि प्रबंधकों के साथ बैठक में सिंगल यूज प्लास्टिक से वातावरण को होने वाली हानि व गीले सूखे कूड़े के व्यवस्थित रूप से प्रबंधन हेतु जागरूक किया गया, तो दूसरी तरफ पंतनगर और रुद्रपुर सिडकुल के प्लाट न0 15 में सेक्टर 3 में अवैध रूप से चल रही प्लास्टिक की अवैध रूप से फैक्ट्रियों को किसी का खौफ नहीं, सिडकुल की इस फैक्ट्री से एक वीडियो सामने आया है, जहां हानिकारक पॉलिथीन से बनने वाले ग्लास बनाये जा रहे हैं और धडल्ले से प्रतिबंधित प्लास्टिक निर्माण किया जा रहा है। वहीं अधिकारियों बैठक में भले ही प्लास्टिक के खिलाफ कार्यवाही की बात कर रहे हों लेकिन चोरी छुपे रात के अंधेरे में प्लास्टिक के ग्लास बनाने वाली फैक्ट्रियों को कौन रोके, क्योकि यहां रात के अंधेरे में काम चलता है अधिकारी अपने घरों पर आराम फरमाते हैं।