उत्तराखंड में कोरोना काल के 2 साल बाद खुले चारधाम यात्रा में यात्रियों के पहुंचने का सिलसिला लगातार जारी है हर दिन चारधाम यात्रा में पहुंचने वाले श्रद्धालुओं की संख्या नया रिकॉर्ड बना रही है। इस बात का अंदाजा आप इसी बात से लगा सकते हैं कि अगले एक सप्ताह तक की चारधाम यात्रा की स्लॉट फुल हो गई है ऐसे में उत्तराखंड पुलिस ने चारधाम यात्रियों से एक सप्ताह बाद यात्रा के लिए पंजीकरण कराने की अपील की है।
आपको बता दे चारधाम यात्रा को शुरू हुए तीन सप्ताह का वक्त हो चुका है और अब तक 9 लाख से ज्यादा श्रद्धालु चारधामों का दर्शन कर चुके हैं वहीं स्वास्थ्य कारणों और अत्यधिक ठंड होने से अब तक 74 यात्रियों की मौत हो चुकी है पिछले दिनों हुई भारी बारिश से यमुनोत्री और केदारनाथ मार्ग बाधित होने से भारी संख्या में यात्री फंस गए थे.बात दें कि चारधाम यात्रा मार्ग पर ट्रैफिक व्यवस्था को लेकर पुलिस और प्रशासन ने जो दावे किए थे वो सभी दावे चारधाम यात्रा शुरू होते ही फेल हो गए थे हरिद्वार से लेकर चारधाम यात्रा मार्ग पर हर जगह लोगों को जाम से दो चार होना पड़ रहा है चारधाम यात्रा मार्ग पर हर जगह अव्यवस्थाएं फैली हुई हैं।
हालांकि अब देर से ही सही लेकिन पुलिस ने चारधाम यात्रा को लेकर नया प्लान बनाया है ताकि चारधाम यात्रा पर आने वाले श्रद्धालुओं को राहत मिल सके. इसके उत्तराखंड पुलिस मुख्यालय की तरफ से दिशा-निर्देश भी जारी कर दिए गए है यात्रा मार्ग में फैली अव्यवस्थाओं को देखते हुए चारधाम यात्रा मार्ग पकड़ने वाले हरिद्वार, देहरादून, पौड़ी और टिहरी जिले को 8 जोन और 28 सेक्टरों में विभाजित किया गया है हरिद्वार जिले को दो जोन और 6 सेक्टरों में बांटा गया है हरिद्वार जिले में सप्तऋषि बार्डर से लालतप्पड़ तक प्रथम जोन बनाया गया है और जयराम मोड़ से सप्तऋषि फ्लाई ओवर तक दूसरा जोन बनाया है.इसके अलावा देहरादून जिले के रायवाल थाना क्षेत्र में सप्तऋषि बॉर्डर से लालतप्पड़ तक तीसरा जोन और ऋषिकेश कोतवाली क्षेत्र के नेपाली फार्म से चन्द्रभागा पुल तक चौथा जोन बनाया गया है इन दोनों जोन को सात सेक्टर में बांटा गया है। वहीं टिहरी जिले में यात्रा के दौरान ज्यादा ट्रैफिक देखते हुए ढालवाला, मुनिकी रेती और तपोवन एवं ब्यासी तक के मार्ग को अलग-अलग 3 जोनों में बांटा गया है, जिसमें कुल 10 सेक्टर हैं. वहीं पौड़ी जिले के लक्ष्मण झूला थाना क्षेत्र में 1 जोन और 5 सेक्टर बनाए गए हैं. बाहरी प्रदेशों से आने वाले वाहनों के लिए अलग से प्लान बनाया गया है।